www.upsc.gov.in Syllabus in Hindi - Summary
UPSC परीक्षा एक महत्वपूर्ण छँटाई परीक्षा के रूप में कार्य करती है। यह जानना आवश्यक है कि प्रारंभिक परीक्षा (Preliminary) में प्राप्त अंक केवल मुख्य परीक्षा (Main) के लिए योग्य उम्मीदवारों को योग्यता देने के लिए होते हैं। ये अंक अंतिम रैंकिंग या मेरिट सूची को प्रभावित नहीं करते।
UPSC IAS परीक्षा के तीन चरण
- सिविल सर्विसेज (प्रारम्भिक) परीक्षा: यह एक वस्तुनिष्ठ प्रकार की परीक्षा है जिसे मुख्य परीक्षा के लिए उम्मीदवारों का चयन करने हेतु डिजाइन किया गया है।
- सिविल सर्विसेज मेन (मुख्य) परीक्षा: यह एक लेखन परीक्षा है जो उम्मीदवारों का और विस्तृत मूल्यांकन करती है और अंतिम चयन के लिए तैयार करती है।
- सिविल सर्विसेज पर्सनालिटी टेस्ट (साक्षात्कार): चयन प्रक्रिया का अंतिम चरण है, जहाँ उम्मीदवारों की व्यक्तित्व और सिविल सेवा के लिए योग्यता का आकलन किया जाता है।
UPSC पाठ्यक्रम – अवलोकन
विवरण | प्रारम्भिक (Prelims) | मुख्य (Mains) |
---|---|---|
परीक्षाओं की संख्या | दो | नौ |
प्रश्नों के प्रकार | वस्तुनिष्ठ प्रकार | वर्णनात्मक प्रकार |
परीक्षा की अवधि | प्रत्येक 2 घंटे | प्रत्येक 3 घंटे |
कुल अंक | 400 | 1750 |
परीक्षा माध्यम | अंग्रेजी और हिंदी | अंग्रेजी और हिंदी (भाषा पत्र को छोड़कर) |
नकारात्मक अंकन | ⅓ अंक | नहीं |
मेरिट में गिने जाने वाले अंक | नहीं | हाँ |
www.upsc.gov.in पाठ्यक्रम (हिंदी में)
प्रारम्भिक परीक्षा – सामान्य अध्ययन पत्र (Prelims Paper I) का पाठ्यक्रम
- राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय महत्व की सामयिक घटनाएँ।
- भारत का इतिहास और भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन।
- भारतीय एवं विश्व भूगोल — भौतिक, सामाजिक, और आर्थिक भूगोल।
- भारतीय राज्यव्यवस्था और प्रशासन — संविधान, राजनीतिक प्रणाली, पंचायत राज, सार्वजनिक नीति, अधिकार संबंधी मुद्दे आदि।
- आर्थिक और सामाजिक विकास — सतत विकास, गरीबी, समावेशन, जनसांख्यिकी, सामाजिक क्षेत्र पहलों आदि।
- पर्यावरणीय पारिस्थितिकी, जैव विविधता और जलवायु परिवर्तन से संबंधित सामान्य मुद्दे — जिनमें विशिष्ट विशेषज्ञता की आवश्यकता न हो।
- सामान्य विज्ञान
CSAT पत्र (Prelims Paper-II) का पाठ्यक्रम
- पाठ की समझ (Comprehension)
- अंतर-व्यक्तिगत कौशल सहित संचार कौशल
- तार्किक तर्क और विश्लेषणात्मक क्षमता
- निर्णय-निर्माण और समस्या-समाधान
- सामान्य मानसिक क्षमता
- मूल संख्यात्मक योग्यता (कक्षा X स्तर), डेटा इंटरप्रिटेशन (चार्ट, ग्राफ, तालिका, डेटा पर्याप्तता आदि — कक्षा X स्तर)
UPSC परीक्षा पैटर्न
UPSC प्रारम्भिक परीक्षा पैटर्न | ||||
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पत्र | विषय | अंक | प्रश्नों की संख्या | अवधि |
I | सामान्य अध्ययन (GS) | 200 | 100 | 2 घण्टे (9:30 AM से 11:30 AM) |
II | CSAT | 200 | 80 | 2 घण्टे (2:30 PM से 4:30 PM) |
UPSC मेन (मुख्य) परीक्षा
योग्यता पत्र (Qualifying Papers) | अंक | |
पत्र-A | उम्मीदवार द्वारा संवैधानिक आठवें अनुसूची में शामिल भाषाओं में से चयनित एक भारतीय भाषा | 300 |
पत्र-B | अंग्रेज़ी | 300 |
मेरिट के लिए गिने जाने वाले पत्र | ||
पत्र-I | निबंध | 250 |
पत्र-II | सामान्य अध्ययन-I (भारतीय सांस्कृतिक धरोहर और संस्कृति, इतिहास और समाज का भूगोल) | 250 |
पत्र-III | सामान्य अध्ययन-II (शासन, संविधान, राजनीति, सामाजिक न्याय और अंतर्राष्ट्रीय संबंध) | 250 |
पत्र-IV | सामान्य अध्ययन-III (प्रौद्योगिकी, आर्थिक विकास, जैव विविधता, पर्यावरण, सुरक्षा और आपदा प्रबंधन) | 250 |
पत्र-V | सामान्य अध्ययन-IV (नीति, ईमानदारी और प्रवृत्ति) | 250 |
पत्र-VI | वैकल्पिक विषय – पत्र 1 | 250 |
पत्र-VII | वैकल्पिक विषय – पत्र 2 | 250 |
उप-योग (लिखित परीक्षा) | 1750 | |
व्यक्तित्व परीक्षण | 275 | |
कुल योग | 2025 |
UPSC मेन सामान्य अध्ययन I का पाठ्यक्रम
भारतीय धरोहर और संस्कृति, इतिहास और समाज का भूगोल:
- भारतीय संस्कृति में साहित्य, कला रूप, और स्थापत्य के प्रमुख पहलू — प्राचीन से आधुनिक तक।
- आधुनिक भारतीय इतिहास — अठारहवीं शताब्दी के मध्य से वर्तमान तक के प्रमुख घटनाक्रम, हस्तियाँ और मुद्दे।
- स्वतंत्रता संग्राम के विभिन्न चरण और देश के विभिन्न हिस्सों के प्रमुख योगदानकर्ता।
- स्वतंत्रता के बाद एकात्मता और पुनर्गठन (Post-independence consolidation and reorganization)।
- विश्व इतिहास — 18वीं सदी के बाद की प्रमुख घटनाएँ जैसे विश्वयुद्ध, औद्योगिक क्रांति, उपनिवेशवाद, राष्ट्र-सीमाओं का पुनर्निर्धारण, निर-colonization और राजनीतिक विचारधाराएँ।
- भारत और भारतीय समाज की विविधता के विशिष्ट पहलू।
- महिलाओं की भूमिका और महिला संगठनों का योगदान; जनसंख्या, गरीबी और विकास संबंधी मुद्दे; शहरीकरण और उससे जुड़ी समस्याएँ एवं उनके समाधान।
- सामाजिक सशक्तिकरण, सांप्रदायिकता, क्षेत्रवाद और धर्मनिरपेक्षता के मुद्दे।
- मुख्य प्राकृतिक संसाधनों का वितरण, और विभिन्न क्षेत्रों में उद्योगों के स्थान निर्धारण के कारण।
- वैश्वीकरण का भारतीय समाज पर प्रभाव।
- महत्वपूर्ण भौगोलिक घटनाएँ जैसे भूकंप, सुनामी, ज्वालामुखी गतिविधि, चक्रवात आदि; भौगोलिक विशेषताएँ और उनमें होने वाले परिवर्तन तथा इनके प्रभाव।
- विश्व के भौतिक भूगोल के प्रमुख पहलू।
UPSC मेन सामान्य अध्ययन II का पाठ्यक्रम
शासन, संविधान, राजनीति, सामाजिक न्याय और अंतर्राष्ट्रीय संबंध:
- भारतीय संविधान — ऐतिहासिक पृष्ठभूमि, विकास, प्रमुख प्रवधान, संशोधन और मूल ढाँचा।
- केंद्र और राज्यों के कार्य और जिम्मेदारियाँ; संघीय ढाँचे से संबंधित मुद्दे; स्थानीय स्तर तक शक्तियों और वित्त का ह्रास और चुनौतियाँ।
- भारतीय संवैधानिक व्यवस्था की तुलना अन्य देशों की व्यवस्थाओं से।
- शक्तियों का पृथक्करण, विवाद निवारण तंत्र और संस्थाएँ।
- संसद और राज्य विधानसभाएँ — संरचना, कार्यप्रणाली, व्यवसाय का संचालन, शक्ति और विशेषाधिकार तथा उनसे संबंधित मुद्दे।
- विभिन्न संवैधानिक पदों की नियुक्तियाँ, उनके कार्य, शक्तियाँ और जिम्मेदारियाँ।
- कार्यपालिका और न्यायपालिका की संरचना, मंत्रालय और सरकारी विभाग; दबाव समूहों और संघों की भूमिका।
- प्रतिनिधित्व के अधिकारों से सम्बन्धित प्रमुख पहलू (Representation of People’s Act)।
- विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिए सरकारी नीतियाँ और हस्तक्षेप तथा उनके डिज़ाइन और क्रियान्वयन से उत्पन्न समस्याएँ।
- स्थायी, नियामक और अर्ध-न्यायिक निकाय
- केंद्र और राज्यों द्वारा कमजोर वर्गों के लिए कल्याण योजनाएँ और उनकी कार्यक्षमता; संरक्षण और सुधार हेतु बनाए गए तंत्र, कानून और संस्थाएँ।
- स्वास्थ्य, शिक्षा और मानव संसाधन से जुड़ी विकास प्रक्रियाएँ और चुनौतियाँ।
- शासन में पारदर्शिता और जवाबदेही के प्रमुख पहलू, ई-गवर्नेंस के मॉडल और उनकी सीमाएँ; नागरिक चार्टर, सूचना का अधिकार आदि।
- गरीबी और भुखमरी से संबंधित मुद्दे।
- लोक प्रशासन में सिविल सेवा की भूमिका।
- भारत से जुड़े द्विपक्षीय, क्षेत्रीय और वैश्विक समूह/समझौते जिनका भारत के हितों पर प्रभाव है।
- भारत और उसके पड़ोसी देशों के साथ सम्बन्ध।
- महत्वपूर्ण अंतरराष्ट्रीय संस्थाएँ, उनके ढाँचे और उद्देश्य।
- विकसित और विकासशील देशों की नीतियों और राजनीति का भारत पर प्रभाव; भारतीय प्रवासी समुदाय (डायस्पोरा)।
UPSC मेन सामान्य अध्ययन III का पाठ्यक्रम
प्रौद्योगिकी, आर्थिक विकास, जैव विविधता, पर्यावरण, सुरक्षा और आपदा प्रबंधन:
- भारतीय अर्थव्यवस्था और योजना, संसाधन जुटाना, विकास और रोजगार से संबंधित मुद्दे।
- विकास, जैव विविधता, पर्यावरण सुरक्षा और आपदा प्रबंधन।
- सरकारी बजटिंग।
- समावेशी विकास और इससे जुड़ी समस्याएँ।
- मुख्य फसलों के पैटर्न, सिंचाई प्रणालियाँ, भंडारण, परिवहन और कृषि उत्पादों का विपणन व संबंधित चुनौतियाँ; किसानों के लिए ई-प्रौद्योगिकी के उपयोग।
- पशुपालन अर्थशास्त्र।
- खाद्य प्रसंस्करण और संबंधित उद्योगों का दायरा और महत्व, आपूर्ति श्रृंखला प्रबंधन।
- प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष कृषि सब्सिडी, न्यूनतम समर्थन मूल्य, सार्वजनिक वितरण प्रणाली के उद्देश्य और सीमाएँ, भंडार और खाद्य सुरक्षा के मुद्दे।
- भूमि सुधार।
- उदारीकरण के प्रभाव, औद्योगिक नीतियों में परिवर्तन और उनके औद्योगिक विकास पर प्रभाव।
- बुनियादी ढाँचा: ऊर्जा, बंदरगाह, सड़कें, हवाई अड्डे, रेलवे आदि।
- निवेश मॉडल्स।
- विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी — उपलब्धियाँ और उनका रोज़मर्रा जीवन पर प्रभाव; भारतीय वैज्ञानिक उपलब्धियाँ।
- प्रौद्योगिकी का स्वदेशीकरण और नई तकनीक विकसित करना।
- संरक्षण, प्रदूषण और पर्यावरणीय प्रभाव आकलन।
- आईटी, अंतरिक्ष, कंप्यूटर, रोबोटिक्स, नैनो-टेक्नोलॉजी, बायो-टेक्नोलॉजी तथा बौद्धिक संपदा अधिकारों से संबंधित मुद्दों की जागरूकता।
- आपदा और आपदा प्रबंधन।
- आंतरिक सुरक्षा चुनौतियों में बाह्य राज्य और गैर-राज्य अभिनेता की भूमिका।
- विकास और उग्रवाद के बीच के संबंध।
- संचार नेटवर्क के माध्यम से आंतरिक सुरक्षा चुनौतियाँ, मीडिया और सोशल नेटवर्किंग की भूमिका, साइबर सुरक्षा की मूल बातें; मनी-लॉन्ड्रिंग और निवारण।
- विभिन्न सुरक्षा बल और एजेंसियाँ तथा उनका दायित्व।
- सीमावर्ती क्षेत्रों में सुरक्षा चुनौतियाँ और उनका प्रबंधन; संगठित अपराध और आतंकवाद के बीच संबंध।
UPSC मेन सामान्य अध्ययन IV का पाठ्यक्रम
नीति, ईमानदारी और प्रवृत्ति (Ethics, Integrity and Aptitude): यह पत्र उम्मीदवार के दृष्टिकोण और नैतिकता, सार्वजनिक जीवन में सत्यनिष्ठा और मुद्दों के प्रति उनके समस्या-समाधान दृष्टिकोण की जाँच करता है। प्रश्न अक्सर केस-स्टडी पद्धति में पूछे जा सकते हैं।
- नीति और मानवीय अन्तर-क्रिया — नैतिकता का सार, निर्णय और परिणाम; नैतिकता के आयाम; निजी और सार्वजनिक संबंधों में नैतिकता।
- मानवीय मूल्य — महान नेताओं, सुधारकों और प्रशासकों के जीवन और शिक्षाओं से सबक; परिवार, समाज और शैक्षिक संस्थानों की भूमिका।
- रवैया (Attitude) — उसकी संरचना, कार्य और सोच तथा व्यवहार पर प्रभाव; नैतिक और राजनीतिक रवैये; सामाजिक प्रभाव और प्रेरण।
- सिविल सेवा के लिए आवश्यक आधारभूत मूल्य: ईमानदारी, निष्पक्षता, वस्तुनिष्ठता, सार्वजनिक सेवा के प्रति समर्पण, सहानुभूति और सहिष्णुता।
- भावनात्मक बुद्धिमत्ता (Emotional Intelligence) के सिद्धांत और प्रशासन में उनका उपयोग।
- भारत और विश्व के नैतिक विचारकों और दार्शनिकों का योगदान।
- लोक/सार्वजनिक प्रशासन में नीति-संबंधी और नैतिक चिंताएँ; नियम, कानून और अंतर्मूल्य के स्रोत; जवाबदेही और नैतिक शासन।
- प्रशासन में सत्यनिष्ठा — सार्वजनिक सेवा की संकल्पना; सूचना का अधिकार, आचार संहिता, नागरिक चार्टर्स, सार्वजनिक धन का उपयोग और भ्रष्टाचार की चुनौतियाँ।
- उपर्युक्त विषयों पर केस-स्टडी।
UPSC नया पाठ्यक्रम – IAS प्रारम्भिक परीक्षा (Prelims) — पाठ्यक्रम अंग्रेजी में डाउनलोड
IAS प्रारम्भिक परीक्षा में UPSC उम्मीदवारों की विश्लेषणात्मक, तार्किक और तर्कशक्ति की परीक्षा लेता है। IAS प्रारम्भिक परीक्षा दो भागों में विभाजित है:
(i) सामान्य अध्ययन पत्र-I
(ii) सामान्य अध्ययन पत्र-II (CSAT)
दोनों पत्रों की अधिकतम समय सीमा दो घंटे है और सामान्य अध्ययन पत्र-II (प्रसिद्ध रूप से CSAT) केवल योग्यता परीक्षा है। परीक्षा एक ही दिन में आयोजित होती है — पत्र I सुबह सत्र में और पत्र II शाम के सत्र में।
Prelims — सामान्य अध्ययन पत्र I का विस्तार
अंक: 200
अवधि: 2 घंटे
क्रमांक | विषय-विभाजन | विस्तृत पाठ्यक्रम |
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1 | इतिहास — भारत का इतिहास और स्वतंत्रता संग्राम | प्राचीन भारतीय इतिहास मध्यकालीन भारतीय इतिहास आधुनिक इतिहास (1857 से 1947) भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन |
2 | भूगोल — भारत का भूगोल और भौतिक भूगोल की अवधारणा | भौतिक भूगोल मानव भूगोल आर्थिक भूगोल विश्व भूगोल |
3 | राजनीति — भारतीय राज्यव्यवस्था और शासन सम्बन्धी मुद्दे | केंद्र और राज्य कार्यपालिका संघवाद (Federalism) न्यायिक प्रणाली पंचायती राज |
4 | अर्थशास्त्र — भारतीय अर्थव्यवस्था और सामाजिक विकास | भारतीय अर्थव्यवस्था के मूल सिद्धांत सरकारी सामाजिक योजनाएँ आर्थिक सशक्तिकरण के माध्यम से सामाजिक विकास सतत विकास जनसांख्यिकी |
5 | पर्यावरण और पारिस्थितिकी | मूल सिद्धांत जलवायु परिवर्तन और जलवायु सम्मेलनों/सम्मान |
6 | सामान्य विज्ञान | मूल सिद्धांत नवीनतम वैज्ञानिक और प्रौद्योगिकी विकास |
7 | समसामयिक घटनाएँ | राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय अहम घटनाएँ |
UPSC IAS मेन पाठ्यक्रम (सारांश)
पात्र का नाम | पाठ्यक्रम | अंक |
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निबंध पत्र | किसी भी विषय/विषयों पर (समसामयिक मुद्दे) | 250 |
GS पत्र I | भारतीय धरोहर और संस्कृति, भारतीय इतिहास, विश्व इतिहास, विश्व भूगोल, भारतीय समाज, प्रमुख भौतिक घटनाएँ | 250 |
उक्त शीर्षकों का विस्तृत कवरेज | ||
GS पत्र II | शासन, भारतीय संविधान, राजनीति, सामाजिक न्याय और अंतर्राष्ट्रीय सम्बन्ध | 250 |
कल्याण योजनाएँ, अर्ध-न्यायिक निकाय, सिविल सेवा की भूमिका, पड़ोसी देशों से सम्बन्ध, अंतराष्ट्रीय संस्थाएँ | ||
GS पत्र III | प्रौद्योगिकी, आर्थिक विकास, जैव विविधता, पर्यावरण | 250 |
भारतीय अर्थव्यवस्था और उसके विभिन्न क्षेत्र | ||
सरकारी बजटिंग | ||
भूमि सुधार | ||
समावेशी विकास | ||
सुरक्षा और आपदा प्रबंधन | ||
इन्फ्रास्ट्रक्चर और निवेश | ||
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी सम्बन्धी मुद्दे | ||
GS पत्र IV | नीति और मानव अंतर-संबंध | 250 |
रवैया | ||
प्रवृत्ति | ||
भावनात्मक बुद्धिमत्ता | ||
लोक प्रशासन मूल्य | ||
सार्वजनिक सत्यनिष्ठा | ||
शासन की नैतिकताएँ | ||
उपर्युक्त विषयों पर केस स्टडी | ||
भारतीय भाषा पत्र | (i) दिए गए अनुच्छेदों की समज | 300 |
(ii) संक्षेप लेखन (Précis Writing) | ||
(iii) उपयोग और शब्दावली | ||
(iv) लघु निबंध | ||
(v) अंग्रेजी से भारतीय भाषा में और भारतीय भाषा से अंग्रेजी में अनुवाद | ||
अनुवाद कार्य | ||
अंग्रेजी पत्र | दिए गए अनुच्छेदों की समज | 300 |
संक्षेप लेखन | ||
उपयोग और शब्दावली | ||
लघु निबंध | ||
वैकल्पिक पत्र I | उम्मीदवार द्वारा चुना गया विषय | 250 |
वैकल्पिक पत्र II | उम्मीदवार द्वारा चुना गया विषय | 250 |