EC Act in Hindi - Summary
EC Act, या आवश्यक वस्तु अधिनियम, एक महत्वपूर्ण कानून है जो दुकानदारों को जरूरी वस्तुओं के अधिक भण्डारण और कालाबाजारी से रोकता है। हाल ही में, इस अधिनियम के तहत केंद्र सरकार ने हैंड सैनिटाइजर और मास्क को आवश्यक वस्तु घोषित किया है। इससे इनकी कालाबाजारी पर रोक लगेगी और उपभोक्ताओं को उचित मूल्य पर सामग्रियां मिल सकेंगी। आवश्यक वस्तु अधिनियम (The Essential Commodities Act 1955) का मुख्य उद्देश्य दुकानदारों को जरूरी वस्तुओं के भण्डारण और कालाबाजारी से नियंत्रित करना है।
EC Act in Hindi – एक सरल समझ
आवश्यक वस्तुओं की सूची में पेट्रोलियम (जैसे पेट्रोल, डीजल, नेफ्था और सोल्वेंट्स), खाद्य सामग्री (बीज, वनस्पति, दाल, गन्ना, गुड़, चीनी, चावल और गेहूं आदि), टेक्सटाइल्स, जरूरी दवाइयाँ, और फर्टिलाइजर्स शामिल हैं। सरकार समय-समय पर इस सूची में बदलाव करती रहती है, हाल ही में मास्क और सैनिटाइज़र को भी इस सूची में जोड़ा गया है।
EC Act in Hindi – आवश्यक वस्तु
- आवश्यक वस्तु अधिनियम, 1955 को भारत की संसद द्वारा पारित किया गया था।
- सरकार की देख-रेख में इस कानून के तहत ‘आवश्यक वस्तुओं’ की बिक्री, उत्पादन, और आपूर्ति को आम जनता के हित में नियंत्रित किया जाता है।
- इस कानून के तहत यह देखा जाता है कि उपभोक्ताओं को सही कीमत पर चीजें मिल रही हैं या नहीं।
- केंद्र सरकार के पास यह अधिकार होता है कि वह राज्यों को स्टॉक लिमिट तय करने का निर्देश दे सके और जमाखोरों पर नकेल कस सके, ताकि चीजों की आपूर्ति बाधित न हो और दाम भी अधिक न बढ़ें।
- जब सरकार किसी वस्तु को ‘आवश्यक वस्तु’ घोषित करती है, तो उसके पास उसे लेकर अधिकतम खुदरा मूल्य तय करने का अधिकार होता है।
- यदि कोई दुकानदार उस मूल्य से अधिक दाम पर वस्तुएं बेचता है, तो उसके खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है।
आप इस विषय पर और जानकारी के लिए PDF डाउनलोड कर सकते हैं।
आवश्यक वस्तु अधिनियम एक महत्वपूर्ण कानून है जो भारत में उपभोक्ताओं के हित की रक्षा करता है। यहाँ पर दिए गए सभी सूचना को ध्यान में रखते हुए, इस अधिनियम का पालन करना जरूरी है। आप इसे और विस्तार से समझने के लिए PDF डाउनलोड कर सकते हैं।